स्तन में गांठ: ब्रेस्ट कैंसर के सबसे सामान्य लक्षण में से 1
स्तन कैंसर, महिलाओं में होने वाली सबसे आम और गंभीर बीमारियों में से एक है। ब्रेस्ट कैंसर का समय पर पता लगाना और उसका इलाज करना बेहद महत्वपूर्ण होता है क्योंकि यह बीमारी यदि जल्दी पकड़ी जाती है, तो इसका इलाज अधिक प्रभावी और सफल होता है। इस लेख में हम स्तन में गांठ (Breast Lump) के बारे में चर्चा करेंगे, जो ब्रेस्ट कैंसर का सबसे सामान्य लक्षण है। हम जानेंगे कि यह लक्षण कैसे विकसित होता है, इसके कारण क्या होते हैं, और इसका सही तरीके से इलाज कैसे किया जा सकता है।
स्तन में गांठ क्या है?
स्तन में गांठ एक सूजन, कठोरता या तरल पदार्थ से भरी संरचना हो सकती है जो स्तन के अंदर बनती है। यह गांठ सामान्यतः ब्रेस्ट के ऊतकों (tissues) में या नलिकाओं (ducts) में बन सकती है। इन गांठों का आकार छोटा या बड़ा हो सकता है और समय के साथ उनका आकार भी बदल सकता है। गांठ का रूप, कठोरता, और बढ़ने की दर यह निर्धारित करने में मदद कर सकते हैं कि यह कैंसर का संकेत है या नहीं।
स्तन में गांठ के प्रकार
- सौम्य गांठ (Benign Lump): ये गांठें गैर-खतरनाक होती हैं और अक्सर हॉर्मोनल परिवर्तनों या संक्रमण के कारण बनती हैं। इनमें फाइब्रोएडेनोमा, सिस्ट या मास्टाइटिस शामिल हो सकते हैं।
- कैंसरयुक्त गांठ (Malignant Lump): ब्रेस्ट कैंसर के कारण बनने वाली गांठें कठोर, सीमा अस्पष्ट और तेज़ी से बढ़ने वाली होती हैं। इन गांठों के साथ त्वचा में बदलाव, निपल से असामान्य डिस्चार्ज, और आसपास की त्वचा में सूजन भी हो सकती है।
स्तन में गांठ के कारण
स्तन में गांठ के बनने के कई कारण हो सकते हैं। इनमें से कुछ सामान्य कारणों का विस्तृत विवरण नीचे दिया गया है:
1. हार्मोनल परिवर्तन (Hormonal Changes)
महिलाओं में मासिक धर्म, गर्भावस्था, या मेनोपॉज़ के दौरान हार्मोनल परिवर्तन होते हैं। इन बदलावों के कारण स्तन में सूजन और गांठ बन सकती है। आमतौर पर ये गांठें मासिक धर्म के बाद ठीक हो जाती हैं।
- मासिक धर्म चक्र: मासिक धर्म के दौरान स्तन के ऊतकों में सूजन आ सकती है, जिससे गांठ की भावना हो सकती है। यह अक्सर प्राकृतिक और अस्थायी होता है।
- गर्भावस्था: गर्भावस्था के दौरान हार्मोनल बदलावों के कारण स्तन के ऊतक अधिक सक्रिय हो सकते हैं, जिससे गांठ का निर्माण हो सकता है।
- मेनोपॉज़: उम्र बढ़ने के साथ महिलाओं में हार्मोनल परिवर्तन होते हैं, जिनका असर स्तन पर पड़ सकता है और सूजन और गांठ जैसी समस्याएं उत्पन्न हो सकती हैं।
2. फाइब्रोएडेनोमा (Fibroadenoma)
फाइब्रोएडेनोमा एक सौम्य गांठ है, जो स्तन के लसिका और घनास्थि कोशिकाओं से बनती है। यह गांठ किसी भी प्रकार के कैंसर का संकेत नहीं होती, लेकिन यदि बढ़ जाए तो इसे हटाने की आवश्यकता हो सकती है। फाइब्रोएडेनोमा आमतौर पर महिलाओं के 15 से 35 वर्ष के आयु वर्ग में पाया जाता है। यह गांठ नरम, गोल और सीमाओं में स्पष्ट होती है।
3. सिस्ट (Breast Cysts)
सिस्ट एक तरह की गांठ होती है जो तरल पदार्थ से भरी होती है। यह हार्मोनल परिवर्तनों के कारण बन सकती है और अक्सर मासिक धर्म के समय बढ़ सकती है। सिस्ट आकार में छोटे या बड़े हो सकते हैं और ये गांठें दर्दनाक हो सकती हैं। हालांकि, सिस्ट आमतौर पर सौम्य होती हैं और ब्रेस्ट कैंसर का कारण नहीं बनती हैं।
4. स्तन संक्रमण (Mastitis)
यह मुख्य रूप से स्तनपान करने वाली महिलाओं में होता है, लेकिन यह किसी भी उम्र की महिला को हो सकता है। जब स्तन में किसी प्रकार का संक्रमण होता है तो नलिकाएं बंद हो सकती हैं, जिससे सूजन, दर्द, और गांठ बन सकती है। स्तन में लाली, गर्माहट और हल्का बुखार भी महसूस हो सकता है।
5. ब्रेस्ट कैंसर (Breast Cancer)
जब ब्रेस्ट कैंसर गांठ के रूप में विकसित होता है, तो यह आमतौर पर स्तन के ऊतकों में अनियमित कोशिकाओं की वृद्धि के कारण होता है। ब्रेस्ट कैंसर की गांठें कठोर और सीमा अस्पष्ट होती हैं, और ये तेजी से बढ़ सकती हैं। इसके अलावा, निपल से असामान्य डिस्चार्ज और आसपास की त्वचा में सूजन, लालिमा या धब्बे भी हो सकते हैं।
स्तन में गांठ के लक्षण
स्तन में गांठ के लक्षण ब्रेस्ट कैंसर के पहचान में मदद करते हैं। इन लक्षणों में निम्नलिखित शामिल हैं:
1. गांठ का आकार और रूप
गांठ का आकार और रूप इसका संकेत हो सकता है कि यह सौम्य है या कैंसर का लक्षण है।
- सौम्य गांठें गोल और नरम होती हैं, जबकि कैंसर की गांठें कठोर और असमान आकार की होती हैं।
- ब्रेस्ट कैंसर की गांठ आमतौर पर धीरे-धीरे बढ़ती है और इसका आकार लगातार बदल सकता है।
2. निपल में बदलाव
- निपल से असामान्य डिस्चार्ज (खून, पानी या अन्य तरल पदार्थ) हो सकता है।
- निपल का अंदर की ओर धंसना (inverted nipple) हो सकता है।
- निपल का आकार या रंग बदल सकता है, जो कैंसर का संकेत हो सकता है।
3. त्वचा में बदलाव
- स्तन की त्वचा पर लालिमा, सूजन या गहरे धब्बे हो सकते हैं।
- त्वचा पर “ऑरेंज के छिलके” जैसे लक्षण, जिसमें त्वचा उबड़-खाबड़ हो जाती है।
- गांठ के आसपास त्वचा में जलन या दर्द हो सकता है।
4. दर्द
- कैंसर की गांठ के साथ दर्द होना दुर्लभ होता है, लेकिन कुछ मामलों में गांठ के आकार बढ़ने पर दर्द हो सकता है।
- दर्द विशेषकर गांठ के आसपास के क्षेत्र में महसूस हो सकता है।
स्तन में गांठ की जांच कैसे करें?
अगर आपको स्तन में गांठ महसूस होती है, तो इसे खुद से जांचना बहुत महत्वपूर्ण है। ब्रेस्ट सेल्फ-एक्जामिनेशन (BSE) एक सरल और प्रभावी तरीका है जिससे महिलाएं अपने स्तन की नियमित रूप से जांच कर सकती हैं।
1. ब्रेस्ट सेल्फ-एक्जामिनेशन (Breast Self-Examination)
यह प्रक्रिया किसी भी समय की जा सकती है, लेकिन मासिक धर्म के बाद यह ज्यादा प्रभावी होती है। इसे कैसे करें, जानिए:
- शीशे के सामने खड़े होकर: सबसे पहले अपने स्तन की स्थिति को शीशे में देखें। ध्यान दें कि क्या कोई असामान्यता, सूजन, या त्वचा में बदलाव दिखाई दे रहा है।
- दोनों हाथों को सिर के ऊपर उठाकर: अब अपने दोनों हाथों को सिर के ऊपर उठाकर स्तन के ऊतकों में गांठ की जांच करें।
- हाथों को शरीर के किनारों पर रखें: फिर हाथों को शरीर के किनारे रखें और गांठ या असामान्यता महसूस करें।
2. निपल की जांच
निपल से डिस्चार्ज (खून, पानी या अन्य तरल पदार्थ) को जांचने के लिए हल्का दबाव डालें और ध्यान से देखें।
स्तन में गांठ की जाँच के बाद क्या करें?
अगर स्तन में गांठ महसूस होती है या किसी अन्य असामान्यता का संकेत मिलता है, तो आपको तुरंत डॉक्टर से संपर्क करना चाहिए। डॉक्टर आपकी पूरी मेडिकल हिस्ट्री की जांच करेंगे और निम्नलिखित परीक्षणों का सुझाव दे सकते हैं:
1. मेमोग्राफी (Mammography)
यह एक एक्स-रे आधारित परीक्षण है, जो स्तन के अंदर की संरचनाओं को स्पष्ट रूप से दिखाता है। यह स्तन कैंसर का समय पर पता लगाने में सहायक है।
2. अल्ट्रासाउंड (Ultrasound)
यह परीक्षण स्तन में गांठ के आकार और प्रकार के बारे में अधिक जानकारी प्रदान करता है। अल्ट्रासाउंड का इस्तेमाल खासकर तब किया जाता है जब मेमोग्राफी में कोई असामान्यता नहीं
दिखाई देती।
3. बायोप्सी (Biopsy)
बायोप्सी में, एक सुई द्वारा गांठ से ऊतक का नमूना लिया जाता है और यह परीक्षण यह निर्धारित करने में मदद करता है कि गांठ कैंसर है या नहीं।
ब्रेस्ट कैंसर का इलाज
यदि स्तन में गांठ का कारण ब्रेस्ट कैंसर है, तो उपचार के विभिन्न विकल्प उपलब्ध हैं, जो कैंसर के प्रकार, चरण, और अन्य कारकों पर निर्भर करते हैं:
1. सर्जरी (Surgery)
सर्जरी के द्वारा कैंसरयुक्त गांठ को हटा दिया जाता है। कभी-कभी, पूरी स्तन की सर्जरी की जाती है, जबकि अन्य मामलों में केवल गांठ को हटाया जाता है।
2. कीमोथेरेपी (Chemotherapy)
यह उपचार कैंसर कोशिकाओं को मारने के लिए दवाओं का उपयोग करता है। कीमोथेरेपी सर्जरी के बाद दी जा सकती है, या यदि कैंसर अधिक फैल चुका हो तो पहले की जा सकती है।
3. रेडिएशन थेरेपी (Radiation Therapy)
यह उपचार उच्च-ऊर्जा वाली लहरों का उपयोग करके कैंसर कोशिकाओं को नष्ट करता है। यह उपचार सर्जरी के बाद या कीमोथेरेपी के साथ किया जा सकता है।
4. हॉर्मोनल थेरेपी (Hormonal Therapy)
अगर कैंसर हॉर्मोन रिसेप्टर्स से प्रभावित है, तो हॉर्मोनल थेरेपी दी जाती है, जो कैंसर कोशिकाओं की वृद्धि को रोकती है।
FAQs – स्तन में गांठ के बारे में सामान्य सवाल
1. क्या स्तन में गांठ का होना हमेशा ब्रेस्ट कैंसर का संकेत है?
नहीं, स्तन में गांठ का होना हमेशा ब्रेस्ट कैंसर का संकेत नहीं होता। यह सौम्य स्थितियों जैसे फाइब्रोएडेनोमा, सिस्ट, या हार्मोनल बदलावों के कारण भी हो सकता है।
2. स्तन में गांठ की जांच कितनी बार करनी चाहिए?
महिलाओं को हर महीने ब्रेस्ट सेल्फ-एक्जामिनेशन करना चाहिए और हर दो साल में मेमोग्राफी करवानी चाहिए, खासकर 40 वर्ष के बाद।
3. अगर मुझे स्तन में गांठ महसूस हो तो मुझे क्या करना चाहिए?
अगर आपको स्तन में गांठ महसूस हो तो तुरंत डॉक्टर से संपर्क करें। डॉक्टर आपको उचित जांच जैसे मेमोग्राफी या बायोप्सी की सलाह देंगे।
4. क्या स्तन में गांठ के साथ दर्द होना सामान्य है?
स्तन में गांठ के साथ दर्द होना सामान्य नहीं है, खासकर अगर गांठ कठोर है। हालांकि, दर्द का होना अन्य कारणों से भी हो सकता है, जैसे सिस्ट या संक्रमण।
5. क्या ब्रेस्ट कैंसर का इलाज संभव है?
हाँ, अगर ब्रेस्ट कैंसर का समय पर निदान किया जाता है, तो इसका इलाज संभव है। सर्जरी, कीमोथेरेपी, रेडिएशन, और हॉर्मोनल थेरेपी के द्वारा इसे नियंत्रित किया जा सकता है।
निष्कर्ष
स्तन में गांठ का होना हमेशा गंभीर नहीं होता, लेकिन इसे नजरअंदाज नहीं करना चाहिए। समय पर निदान और उचित उपचार से ब्रेस्ट कैंसर का इलाज संभव है। महिलाओं को नियमित जांच करवानी चाहिए और किसी भी असामान्य लक्षण को अनदेखा नहीं करना चाहिए।
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